आर्टिफिशियल इंटेलीजेंस (AI) के आने के बाद कई क्षेत्रों में क्रांति देखने को मिली है। इसका एक उदाहरण है आई द्वारा संचालित एक ड्रोन की हाल ही में हाई स्पीड रेसिंग प्रतियोगिता में उपलब्ध चैंपियंस मानव ड्रोन पायलटों को हरा दिया जाना। यह प्रतियोगिता स्विजरलैंड की ज्यूरिख यूनिवर्सिटी के शोधकर्ताओं द्वारा विकसित ड्रोन ने जीती है। इस ड्रोन ने 25 में से 15 रेस जीती हैं और सबसे तेज लैप भी हासिल की है।
यह ड्रोन मानवों की योग्यता और कौशल को देखते हुए बनाया गया है। इसकी मदद से AI को इंसानी चैंपियंस को हरा दिया गया है। इस ड्रोन की रेसिंग में 50 मील प्रति घंटे की गति तक पहुंची है। स्पीड और कंट्रोल में यह ड्रोन अतिरिक्त सचेत बनाया जाता है ताकि अनुकरण की अभिप्राय प्रदर्शन कर सकें।
प्रशिक्षण के दौरान यह ड्रोन बड़े संख्या में दुर्घटनाग्रस्त हुआ है। लेकिन शोधकर्ता एलिया कॉफमैन कहते हैं कि यह प्रशिक्षण आसानी से फिर से शुरू किया गया है। इसके लिए ये ड्रोन सिमुलेटेड वातावरण में प्रशिक्षित किया गया है ताकि वास्तविकता के नजदीक जाने वाले परिणामों का अनुमान लगाया जा सके।
एलिया कॉफमैन ने कहा, ‘हमारे नतीजे से पहली बार पता चला है कि AI द्वारा संचालित रोबोट ने इंसानों द्वारा डिजाइन किए गए वास्तविक फिजिकल खेल में इंसानी चैंपियंस को ही हरा दिया है।’ वह इस ड्रोन के प्रदर्शन पर गर्व महसूस कर रही हैं।
इस AI-संचालित ड्रोन का उपयोग अनेक क्षेत्रों में किया जा सकेगा, जहाँ जरूरत पड़ती है तेज और सटीक गति के साथ चीजों की तलाश करने की। इसके अलावा इस ड्रोन के विकास ने आर्टिफिशियल इंटेलीजेंस के नये नये अंदाज मनाने में मदद की है और इंसानी कौशल को भी परखा है। यह उदाहरण स्पष्ट करता है कि AI के आने से मानवीय कौशल पर बड़ा असर पड़ा है और इंसानों को भी पीछे छोड़ दिया है।
यह तज़ा ख़बर E-Postmortem साइट पर प्रकाशित हुई है।