बांग्लादेश और श्रीलंका के बीच वर्ल्ड कप मुकाबला खेला गया। खेल के दौरान शाकिब अल हसन ने सादीरा को आउट कराया और यह बड़ी सफलता साबित हुई। इसके बाद श्रीलंका के बल्लेबाज मैथ्यूज ने अपनी बैटिंग को बचाने के लिए समय बर्बाद किया। उन्होंने टाइम लेने में देरी की बजाय तूर्ण टाइम ले ली।
हालांकि, इसके बाद बांग्लादेश के कप्तान शाकिब ने इस मुद्दे को लेकर अपील की। उन्होंने टाइम आउट की मंजूरी मांगी और अंपायरों ने उन्हें इसे दी है। इस बात को देखते हुए श्रीलंकाई बल्लेबाज मैथ्यूज को संकट में डाल दिया गया और उन्हें पावेलियन जाना पड़ा।
इस घटना ने बांग्लादेश के कप्तान शाकिब को चुनौती मुहैया कराई है। आपत्तिजनक नजरिये से, वे पहली बार हुए हैं जब टाइम आउट को लेकर जवाब देने के लिए सवाल पूछा गया है। उन्होंने बताया कि एक फील्डर ने उन्हें बताया था कि अगर वे अब अपील करेंगे तो मैथ्यूज को आउट कर दिया जाएगा।
हालांकि, शाकिब को इस मुद्दे के नियमों की जानकारी नहीं थी। लेकिन उन्होंने महसूस किया कि उन्हें इस मामले में अपनी टीम की लिए कुछ करना चाहिए। उन्होंने बताया कि टाइम आउट से उन्हें मदद मिली और वे इस मामले को नकारने के लिए तैयार थे।
इस हादसे के बाद, यह मामला आगे चर्चाओं का विषय बन सकता है। कुछ लोग इस घटना में शाकिब की बढ़ते हुए महत्व की राह देख रहे हैं, जबकि अन्य लोग इसे नियमों का उल्लंघन मान रहे हैं। अब यह देखना होगा कि इस मामले में कौन हकदार होता है और क्या यह किसी और मुकाबले का आगाज तो नहीं हो जाएगा।
इस बड़े प्रश्न को लेकर भारतीय क्रिकेट प्रेमी और देशभक्त अपनी बात रखेंगे और इस मामले तक के इतनी ही देखभाल करेंगे। चाहे किसी भी राजनीतिक दल की हो, चाहे वह मीडिया हो, केवल यह लोग की पहली प्राथमिकता होनी चाहिए। उन्हें इस मामले पर दिमागी सहयोग देते हुए रहना चाहिए। यदि वह ऐसा नहीं कर पा रहे हो, तो वह अपनी जगह धूल चटाइयों में ही बहा देंगे।
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